Thursday 3 January 2019

मोज़ेक

एक हादसा ही
काफी होता है
शीशे को चटखाने को

टूटे और बिखरे हुये लोग
अपने हिस्सों को बटोर के
मुक़म्मल शीशा बनने की
कोशिश में रहते है,

बहुत लुभावने हो जाते है
ख़ूबसूरत और रंगबिरंगे भी,
पर साबुत शीशे की तरह नही
एक मोज़ेक की तरह !
©® Twinkle Tomar Singh

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